बीजिंग: चीन में दुनिया का सबसे ऊँचा पुल बनकर तैयार हो गया है और इसे यातायात के लिये खोल दिया गया है. इस पुल का नाम ‘बेइपानजियांग पुल (Beipanjiang Bridge)’ है जो कि देश के पहाड़ी दक्षिण-पश्चिमी हिस्से के दो प्रांतों को आपस में जोड़ता है, इस पुल के बनने से काफी आसानी हो गयी है और यात्रा का समय लगभग एक-चौथाई रह गया है.
गीझू प्रांतीय यातायात विभाग ने अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर एक बयान में बताया कि एक नदी के ऊपर बनाए गए बेइपानजियांग पुल की ऊंचाई 565 मीटर (1,854 फुट) है, और यह पहाड़ी प्रांतों यून्नान और गीझू को जोड़ता है.
गुरुवार को पुल को यातायात के लिए खोल दिए जाने के बाद सरकारी न्यूज़ एजेंसी शिन्हुआ ने डुआन नामक ट्रक ड्राइवर के हवाले से कहा कि यून्नान के शुआनवेई और गीझू के शुईचेंग के बीच यात्रा करने में अब तक चार घंटे से भी ज़्यादा समय लगता था, जो अब इस पुल के बाद लगभग एक घंटा रह गया है. डुआन ने यह भी कहा, “यह उन लोगों के लिए बेहद सुविधाजनक है, जो इन दोनों जगहों के बीच सफर करना चाहते हैं…”
प्रांतीय यातायात विभाग द्वारा जारी एक अन्य बयान में कहा गया कि इससे पहले मध्य चीन के हूबेई प्रांत में बना सी डू रिवर ब्रिज दुनिया का सबसे ऊंचा पुल हुआ करता था, लेकिन अब बेइपानजियांग पुल दुनिया में सबसे ऊंचा पुल हो गया है.
गौरतलब है कि ऊंचे पुलों के अलावा चीन में अनूठे पुल भी कई हैं, जिनमें से एक वह कांच का पुल है, जिसका नाम ‘द हाओहान कियाओ’ (The Haohan Qiao) या ‘बहादुर मर्दों का पुल’ रखा गया है. यह पुल चीन के हुनान प्रांत में एक ऐसी खाई पर बनाया गया है, जिसकी 180 मीटर की गहराई वैसे ही दिल दहला देती है, लेकिन इस पुल को पार करने के लिए ‘दिलेर’ होना इसकी ऊंचाई की वजह से ज़रूरी नहीं है, बल्कि इसकी एक और विशेषता की वजह से ज़रूरी है… दरअसल, इस पुल का फर्श, जो 300 मीटर लम्बा है, पूरी तरह कांच का बना हुआ है…